उधार के रुपये मांगने पर हत्या करने वाले पांच आरोपियों को दस वर्ष की सजा
उधार दिये पांच सौ रुपये मांगने पर हुआ था विवाद, आरोपियों ने घर में घुसकर किया था जानलेवा हमला
हापुड़। उधारी के रुपए मांगे पर हत्या करने के मामले में जिला एवं सत्र न्यायाधीश रविंद्र कुमार प्रथम ने शनिवार को सुनवाई के दौरान अपना फैसला सुनाते हुए आईपीसी की धारा 304 के तहत आरोपियों को दोषी ठहराते हुए सश्रम कारावास की सजा सुनाई है। न्यायालय ने राजेश, संजय, कुलदीप को हत्या का दोषी ठहराते हुए दस वर्ष सश्रम कारावास एवं पच्चीस पच्चीस हजार रुपए के अर्थदंड से दंडित किया है। वहीं रामचंद्र व रामकिशन को दोषी पाते हुए उम्र के दृष्टिगत सात वर्ष सश्रम कारावास व पांच-पांच हजार रुपए के अर्थदंड से दंडित किया है।
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जिला शासकीय अधिवक्ता फौजदारी कृष्ण कांत गुप्ता ने जानकारी पर बताया कि बाबूगढ़ थाना क्षेत्र के गांव हबीसपुर बिगास निवासी प्रवीण कुमार पुत्र रूपचंद से गांव के ही रहने वाले राजेश उर्फ झबरा पुत्र रामचंद्र ने 31 जुलाई 2015 को 500 रुपए उधार मांगे और शाम को लौटाने का वादा किया। जब शाम के समय प्रवीण ने अपने उधार दिए हुए रुपए वापस मांगे तो आरोपी आग बबूला हो गया। गुस्साया राजेश ने अपने सगे भाइयों संजय, अन्नू पुत्र रामचंद्र, रामचंद्र व चाचा रामकिशन पुत्रगण खचेडू तथा कुलदीप पुत्र रामकिशन के साथ प्रवीण के घर पर धावा बोलकर लाठी-डंडे व सरिये से घर में घुसकर प्रवीण तथा उसके परिजनों पर हमला कर दिया।
हमले में प्रवीण व उसके पिता रूपचंद्र, चाचा नवीन, भाई जयवीर गंभीर रूप से घायल हो गए। रूपचंद्र को जख्मी हालत में हापुड़ के अस्पताल में भर्ती कराया गया। जहां उपचार के दौरान रूपचंद की मौत हो गई। मामले में कार्रवाई करते हुए बाबूगढ़ पुलिस ने विभिन्न धाराओं में मुकदमा दर्ज कर जांच शुरू की। विवेचक ने साक्ष्य के आधार पर आरोप पत्र न्यायालय में प्रेषित किया। इसी दौरान आरोपी अन्नू की मौत हो गई। उसी मामले की सुनवाई करते हुए शनिवार को सभी आरोपियों को सजा सुनाई गई।
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